बरसात के मौसम में दही खाने को लेकर होती हे असमंजता। खाए या नहीं।

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आयुर्वेद के मुताबिक दही देर से पचने वाला आहार है और बरसात के मौसम में शरीर की डाइजेस्टिव कैपेसिटी कम हो जाती है. इस वजह से इसका सेवन करना कई परेशानियों का कारण बन सकता है.

बारिश के मौसम में सुबह या रात के समय अधिक दही का सेवन करने से आपको सर्दी-जुकाम, गले में खराश की समस्या हो सकती है। सीने में कफ बढ़ने से सांस लेने में तकलीफ हो सकती है।

जिन लोगों को हड्डियों की समस्या जैसे ज्वाइंट पेन की शिकायत रहती है, उन्हें भी बारिश में दही का सेवन कम करना चाहिए।

जब शरीर के सूक्ष्म छिद्र बंद हो जाते हैं, उस स्थिति में शरीर में भारीपन और जकड़न की समस्या होने लगती है। लगातार थकान बनी रहती है और किसी काम में मन नहीं लगता है। वहीं कुछ लोगों को पेट में दर्द या गैस बनने की शिकायत भी हो सकती है।

आयुर्वेद के अनुसार, बारिश के मौसम में दही का सेवन करना ठीक नहीं होता है। चूंकि, डेयरी प्रोडक्ट्स में मानसून सीजन में बैक्टी

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