एशियन टाइम्स रिपोर्ट | वैशाली, बिहार
वैशाली जिले के देसरी प्रखंड अंतर्गत गनियारी टोला गांव के लोग गंगा नदी में जलस्तर बढ़ने से गंभीर संकट का सामना कर रहे हैं। गंगा के किनारे बसे इस गांव से संपर्क मार्ग पूरी तरह बाधित हो गया है, क्योंकि वहां करीब 8 फीट तक पानी भर चुका है। गांववालों ने स्थिति की गंभीरता को देखते हुए अपने घरों को खाली कर ऊपरी इलाकों की ओर पलायन शुरू कर दिया है।
गांव की स्थिति:
गनियारी टोला में लगभग 65 घर हैं और सभी किसान परिवार हैं। खेती और पशुपालन ही इनका मुख्य आजीविका स्रोत है। लेकिन अब जलस्तर बढ़ने से खेतों में लगी फसलें बर्बाद हो गई हैं और चारा भी डूब गया है। पशुपालकों को अपने जानवरों को सुरक्षित स्थान पर पहुंचाने में काफी कठिनाई हो रही है।
बाढ़ से जनजीवन प्रभावित:
गांव जिला मुख्यालय से करीब 15 किलोमीटर दूर है और चारों ओर से गंगा का पानी नजर आ रहा है। रामदोली सूरसंड घाट क्षेत्र में गंगा का जलस्तर तेजी से बढ़ने से पानी घरों तक पहुंच गया है। ग्रामीण नावों से अपने सामान और जानवरों को बचा रहे हैं। बच्चे स्कूल नहीं जा पा रहे हैं और पशुओं का इलाज तक नहीं हो पा रहा।
प्रशासनिक उदासीनता पर सवाल:
स्थानीय ग्रामीणों ने बताया कि अभी तक कोई ठोस राहत या प्रशासनिक सहायता नहीं मिली है। लोग स्वयं ही नाव या बैलगाड़ी के सहारे सुरक्षित स्थानों की ओर पलायन कर रहे हैं। एक ग्रामीण ने कहा, “अगर जलस्तर ऐसे ही बढ़ता रहा तो गांव पूरी तरह डूब जाएगा।”
स्थिति की गंभीरता:
गांव के चारों ओर गंगा का पानी फैल गया है और सड़क संपर्क पूरी तरह से टूट चुका है। गंगा किनारे बसे गोडे गांव का अस्तित्व लगभग समाप्त हो चुका है। ग्रामीण प्रशासन से तत्काल राहत और पुनर्वास की मांग कर रहे हैं।

Author: Bihar Desk
मुख्य संपादक (Editor in Chief)