पटना में RJD परिवारिक विवाद ने नया मोड़ ले लिया है। सोमवार शाम राबड़ी आवास के बाहर रोहिणी आचार्य के समर्थन में जुटे पार्टी कार्यकर्ताओं ने संजय यादव के खिलाफ जमकर नारेबाजी की और उन्हें “हरियाणा भेजो” की मांग तक कर डाली।
तेजप्रताप यादव ने भी सोशल मीडिया पर तीखी प्रतिक्रिया देते हुए लिखा कि उनका अपमान वे सह सकते हैं, लेकिन बहन का अनादर बर्दाश्त नहीं करेंगे।
बिहार विधानसभा चुनाव में करारी हार के बाद लालू परिवार में तनाव लगातार गहराता जा रहा है। रोहिणी आचार्य पहले ही सोशल मीडिया पर तेजस्वी यादव और उनके सहयोगी संजय यादव पर गंभीर आरोप लगा चुकी हैं। रोहिणी के आवास छोड़ने के बाद उनकी बहनें—रागिनी, राजलक्ष्मी और चंदा यादव—भी दिल्ली रवाना हो गईं, जिससे राबड़ी आवास लगभग खाली हो गया है।
दिल्ली पहुंचने पर रोहिणी ने मीडिया से कहा कि चप्पल दिखाने का आरोप सही है और उनकी बहनों व माता-पिता ने इस घटना पर भावुक प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कहा कि घर में भाई हों तो उन्हें भी ज़िम्मेदारी निभानी चाहिए, सिर्फ बेटियों पर बोझ नहीं डाला जा सकता।
इससे पहले रोहिणी ने एक भावुक पोस्ट साझा कर दावा किया कि उन्हें मायके से निकाल दिया गया और पिता को किडनी देने तक को “गंदा” कहा गया। उन्होंने लिखा कि बेटियों को अपने माता-पिता को बचाने से पहले सौ बार सोचना चाहिए, क्योंकि उनकी तरह उन्हें भी अपमान का सामना करना पड़ सकता है।

शनिवार को रोते हुए राबड़ी आवास छोड़ने वाली रोहिणी ने आरोप लगाया कि तेजस्वी के दो करीबी—संजय यादव और रमीज—उन पर दबाव बनाते रहे। उन्होंने कहा कि सवाल पूछने पर उन्हें गालियां दी जाती हैं और चप्पल तक उठाई जाती है।
गौरतलब है कि इसी साल मई में तेजप्रताप यादव को पार्टी और परिवार से बाहर किया गया था, जिसका दोष भी उन्होंने संजय यादव पर ही लगाया था।
@Tanya Singh
Author: BiharlocalDesk
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