पटना – बिहार में भ्रष्टाचार के खिलाफ विजिलेंस और आर्थिक अपराध इकाई (EOU) की कार्रवाई लगातार तेज होती जा रही है। गुरुवार सुबह शिक्षा विभाग के रीजनल डिप्टी डायरेक्टर (RDD) वीरेन्द्र नारायण और ग्रामीण कार्य विभाग के सुपरिटेंडेंट इंजीनियर विनोद कुमार राय के ठिकानों पर एक साथ छापेमारी हुई। इस दौरान करोड़ों की अवैध संपत्ति का खुलासा हुआ।
3 जिलों में एक साथ छापेमारी
स्पेशल विजिलेंस यूनिट (SVU) ने वीरेन्द्र नारायण के पटना, मुजफ्फरपुर और पूर्णिया स्थित घर और दफ्तर पर छापा मारा।
पटना के जगनपुरा स्थित आवास से 4 लाख रुपये नकद मिले।
मुजफ्फरपुर स्थित दफ्तर और आवास से दस्तावेज, लैपटॉप और कई गैजेट जब्त हुए।
पूर्णिया के रामबाग स्थित आलीशान घर से करीब 5 करोड़ की संपत्ति के कागजात बरामद किए गए।
लंबे समय से थीं शिकायतें
सूत्रों के मुताबिक, वीरेन्द्र नारायण पर तब से आरोप लग रहे थे जब वे वैशाली में जिला शिक्षा पदाधिकारी (DEO) के पद पर थे। उन पर आय से अधिक संपत्ति बनाने और प्रशासनिक लापरवाही बरतने के मामले दर्ज थे।
इंजीनियर के ठिकानों से 20 करोड़ की संपत्ति
इसी बीच EOU ने ग्रामीण कार्य विभाग के इंजीनियर विनोद कुमार राय के 3 ठिकानों पर छापेमारी की।
पटना स्थित घर से 52 लाख रुपये नकद और 26 लाख के सोने-चांदी के गहने मिले।
कुल मिलाकर राय के खिलाफ 20 करोड़ से अधिक की चल-अचल संपत्ति जब्त की गई।
5 साल में 43 इंजीनियर पकड़े गए
आंकड़े बताते हैं कि पिछले 5 वर्षों में विजिलेंस और EOU ने बिहार में 43 इंजीनियरों को भ्रष्टाचार और आय से अधिक संपत्ति के मामलों में गिरफ्तार किया है। इनमें से सबसे अधिक मामले भवन निर्माण विभाग और ग्रामीण कार्य विभाग से जुड़े हैं।
बिहार में विजिलेंस और EOU की लगातार कार्रवाई यह संदेश देती है कि भ्रष्टाचार के खिलाफ अब उच्च अधिकारियों पर भी शिकंजा कसना शुरू हो गया है। सिस्टम को पारदर्शी बनाने की दिशा में यह बड़ा कदम माना जा रहा है।

Author: BiharlocalDesk
saumya jha