बिहार के पियक्कड़ों की आई शामत,26 हजार से ज्‍यादा शराबी गिरफ्तार

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पियक्कड़ों की आई शामत

मिली जानकारी के अनुसार उत्पाद विभाग की टीम जनवरी में हर रोज़ औसत 42 गिरफ्तारी करती थी, लेकिन अगस्त तक ये बढ़कर 395 हो गई है।

बिहार में शराबबंदी कानून लागू है। इसको प्रभावी बनाने के लिए प्रशासन सबसे ज्यादा अलर्ट है। पिछले 8 महीने की बात करें तो मद्य निषेध, उत्पाद एवं निबंधन विभाग की कार्रवाई दस गुना तेज़ कर दी गई है। उत्पाद विभाग की टीम जनवरी में हर रोज़ औसत 42 गिरफ्तारी करती थी, लेकिन अगस्त तक ये बढ़कर 395 हो गई है। जनवरी में पुलिस और उत्पाद टीम की संयुक्त कार्रवाई का आंकड़ा हर रोज़ 350 गिरफ्तारी का था।

इसको लेकर विभाग के उपायुक्त कृष्ण कुमार ने बताया है कि जब से ड्रोन, मोटरबोट से छापेमारी शुरू की गई है तभी से गिरफ्तारी में ज्यादा सफलता मिल रही है। अभी 29 ड्रोन से अलग-अलग जिलों में छापेमारी की जा रही है। इस साल सिर्फ ड्रोन से 18 हजार से अधिक छापेमारी की गई है।

विभाग की तरफ से जो रिपोर्ट तैयार किया गया है, उसके अनुसार अगस्त महीने में ही अवैध 10 हजार 650 छापेमारी हुई, जिसमें 26 हजार आरोपी गिरफ्त में आए। इसमें पुलिस ने 15 हजार 261 जबकि मद्यनिषेध विभाग ने 10 हजार 653 अभियुक्तों को गिरफ्तार किया है। इनमें 997 आरोपी शराब की होम डिलीवरी करने वाले शामिल हैं। छापेमारी में तीन लाख 28 हजार लीटर से अधिक देसी-विदेशी शराब बरामद हुई है।

अगस्त माह महीने में कुल 10653 गिरफ्तारी हुई, जिसमें  7184 शराबी हैं। वहीं शराब बेचने वाले 3469 आरोपी गिरफ्तार किए गए हैं। उत्पाद अधिकारियों के मुताबिक़, एक अप्रैल से लागू संशोधन कानून के बाद पहली बार शराब पीने वालों को जुर्माना राशि देकर छोड़ने का प्रविधान किया गया है।

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